HSRP यानी हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट – क्या है और क्यों जरूरी?

अगर आप अपने वाहन की नंबर प्लेट को लेकर कभी उलझन में रहे हैं तो HSRP शब्द आपके कानों पर ज़रूर आया होगा। HSRर (High Security Registration Plate) भारत में RTO द्वारा जारी की जाने वाली एक विशेष प्लेट है जो पुलिस और व्हीकल रजिस्ट्रेशन को सुरक्षित बनाती है। साधारण प्लेट की तरह नहीं, इसमें चिप, रिफ्लेक्टिव स्ट्रिप और विशिष्ट सर्टिफ़िकेट होते हैं जिससे नकली प्लेट बनाना बेहद कठिन हो जाता है।

HSRP की मुख्य विशेषताएँ

HSRP में तीन प्रमुख घटक होते हैं – (1) एक रिफ्लेक्टिव बैकलिट फोम, (2) एक रॉयल डॉट छाप वाला फ़्रेम और (3) एक अनन्य टेबल्ट‑टॉप QR कोड या RFID चिप। ये सब मिलकर प्लेट को वस्तु रूप में पहचान योग्य बनाते हैं और रजिस्ट्रेशन की सटीकता बढ़ाते हैं। इससे चोरी या दोहराव वाले नंबर की स्थिति में पुलिस तुरंत पहचान कर कार्रवाई कर सकती है।

HSRP कैसे लगवाएँ – स्टेप बाय स्टेप गाइड

HSRP लगवाने की प्रक्रिया बहुत आसान है। सबसे पहले अपने नजदीकी RTO या अधिकृत डीलर से संपर्क करें। आप ऑनलाइन भी अपॉइंटमेंट बुक कर सकते हैं। अगला कदम – आवश्यक दस्तावेज जैसे वाहन का प्रमाणपत्र, पिछले नंबर प्लेट की कॉपी, और पहचान पत्र लाना। दस्तावेज़ जमा करने के बाद RTO आपसे कुछ शुल्क लेगा, जो प्लेट के प्रकार और राज्य के हिसाब से अलग-अलग हो सकता है। फिर एक नई HSRP बनाकर आपके वाहन पर फिट कर दी जाती है।

इस प्रक्रिया में लगभग 2‑3 दिन लगते हैं, लेकिन कुछ राज्यों में तत्काल भी मिल सकती है। ध्यान रहे, एक ही नंबर वाले दो वाहन नहीं हो सकते, इसलिए HSRP पूरी तरह यूनिक होती है। अगर आप पुराना वाहन बेच रहे हैं तो नई प्लेट अनिवार्य है, नहीं तो ट्रांसफ़र में समस्या हो सकती है।

HSRP लगवाने के बाद आपको एक रजिस्ट्रेशन प्रमाणपत्र भी मिलेगा, जिसमें QR कोड या RFID कोड स्कैन करके जल्दी से जानकारी मिल सकती है। यह सुविधा टोल प्लाज़ा, बीमा और स्टेटस चेक में भी काम आती है, जिससे आप बिना किसी कागज़ी कार्रवाई के ट्रैफ़िक नियमों का पालन कर सकते हैं।

बहुत से लोग पूछते हैं – क्या HSRP महंगा है? खर्च आमतौर पर 500‑1500 रुपये के बीच रहता है, जो आपकी गाड़ी की श्रेणी और राज्य के नियमों पर निर्भर करता है। एकबार की लागत के बाद आगे कोई रखरखाव नहीं चाहिए, बस डैमेज या फेड होने पर बदल सकते हैं।

अंत में, अगर आप सुरक्षित ड्राइविंग, पहचान में आसानी और भविष्य की ट्रैफ़िक टेक्नोलॉजी को अपनाना चाहते हैं, तो HSRP आपके लिए एक समझदार विकल्प है। चाहे नए वाहन खरीदें या पुराना, इस प्लेट को लगवाना अब अनिवार्य हो चुका है और इसे जल्द से जल्द करवाना आपके लिए फायदेमंद रहेगा।

HSRP अनिवार्य: पुराने नंबर प्लेट पर रोक, दिल्ली में ELV को फ्यूल नहीं

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महाराष्ट्र ने 1 अप्रैल 2019 से पहले रजिस्ट्रेशन वाली गाड़ियों के लिए HSRP लगाने की समयसीमा नवंबर 2025 तक बढ़ाई, लेकिन बिना HSRP पर RTO सेवाएं रोक दी जाएंगी। दिल्ली-एनसीआर में 15 साल पुराने पेट्रोल और 10 साल पुराने डीजल वाहनों पर फ्यूल बैन शुरू है, ANPR कैमरे VAHAN से मिलान कर रहे हैं। पहले दिन 80 वाहन पकड़े गए। स्क्रैपिंग नीति और BH सीरीज भी लागू हैं।

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